कोटा से वापस आए छात्र-छात्राओं से योगी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से की बात
देश के 135 करोड़ लोगों की भलाई के लिए प्रधानमंत्री मोदी ने उठाए सही कदम : मुख्यमंत्री योगी
योगी ने कहा, कोटा में फंसे साढ़े 11000 से अधिक युवा साथियों को वापस लाना हमारे लिए बड़ी चुनौती
विपत्ति में व्यक्ति का सबसे बड़ा साथी उसका धैर्य होता है
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि दुनिया के 200 से ज्यादा देश कोरोना महामारी के चपेट में हैं। जो देश खुद को सर्वशक्तिमान मानते थे, उनकी भी बुरी स्थिति है। हम सब भाग्यशाली हैं कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश के 135 करोड़ लोगों की भलाई के लिए सही समय पर आवश्यक कदम उठाए। जिसका परिणाम है कि भारत उस संक्रमण की चपेट में आने से बचा हुआ है, जिसकी चपेट में आज दुनिया के तमाम बड़े देश हैं। इसके लिए मैं प्रधानमंत्री मोदी को धन्यवाद देता हूं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को अपने सरकारी आवास पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोटा से वापस आए छात्र-छात्राओं से बात की और उनका हाल-चाल जाना। इस दौरान उन्होंने कहा कि लॉकडाउन के कारण कोटा में फंसे अपने साढ़े 11 हजार से अधिक युवा साथियों को वापस लाना हमारे लिए बड़ी चुनौती थी। हमने कार्ययोजना बनाकर राजस्थान और भारत सरकार से संवाद स्थापित किया और आप लोगों को आपके घरों तक पहुंचाने में सफल रहे। उन्होंने कहा कि विपत्ति में व्यक्ति का सबसे बड़ा साथी उसका धैर्य होता है, आप सबने धैर्य बनाए रखा, जिसका परिणाम है कि आज आप सब अपने घरों में सुरक्षित हैं।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि कोरोना की जंग में बचाव और जागरूकता बेहद जरूरी है। कोटा से वापस आए सभी युवा साथी 14 दिनों तक होम क्वारेंटाइन में रहें और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करें। यह आपके और आपके परिवार के लिए अच्छा रहेगा। अगर कहीं कोई परेशानी आती है, तो आप सीएम हेल्पलाइन नं. 1076 या राहत के हेल्प लाइन नं. 1070 पर फोन कर सकते हैं।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि आप अपने घरों में बैठकर अपने पाठ्यक्रम को पूरा कर सकते हैं। हम लोगों ने प्रदेश में ऑनलाइन क्लास की व्यवस्था भी की है। हमारा प्रयास है कि प्रतियोगी परीक्षाओं के तैयारी के लिए प्रदेश के सभी जनपदों में कुछ अच्छे सेंटर स्थापित किए जाएं। जिससे उत्तर प्रदेश के युवा प्रदेश के अंदर ही प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर सकें, उन्हें प्रदेश से बाहर न जाना पड़े।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि लॉकडाउन के तीसरे दिन ही दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान और देश के अन्य राज्यों से 4 लाख से ज्यादा प्रवासी श्रमिकों का अपने घरों के लिए पैदल निकल पड़ना हम लोगों के लिए बड़ा चैलेज था। इसकी जानकारी मिलते ही हमने सभी जरूरी कदम उठाए और उन श्रमिकों को बसों के माध्यम से उनके जनपद में पहुंचाकर उन्हें क्वारंटीन कराया। उन्होंने कहा कि देश के अन्य राज्यों में भी जहां उत्तर प्रदेश के प्रवासी श्रमिक या कामगार हैं, स्वास्थ्य परीक्षण के बाद उन्हें वापस लाने की कार्यवाही हम युद्ध स्तर पर कर रहे हैं।
जब मुख्यमंत्री ने कहा- आपने हमारा किराया नहीं दिया
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान एक वक्त ऐसा भी आया जब मुख्यमंत्री ने माहौल को हल्का करते हुए हंसी मजाक में बदल दिया। गोरखपुर की रहने वाली छात्रा दीक्षा वर्मा ने मुख्यमंत्री योगी को धन्यवाद दिया। इस पर मुख्यमंत्री ने उनसे पूछा आप सुरक्षित घर पहुँच गई, जिस पर दीक्षा ने कहा हां, तो मुख्यमंत्री ने कहा लेकिन हमें अपना किराया नहीं मिला है। मुख्यमंत्री के इस जवाब पर वहां मौजूद सभी लोग हंस पड़े।
इन छात्र-छात्राओं से मुख्यमंत्री ने की बात
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से वाराणसी की निधि सिंह, गोरखपुर की दीक्षा वर्मा, मुरादाबाद की मानसी सिंह, गाजीपुर की शालिनी राय, मऊ के अमन यादव, अयोध्या के राज पाण्डे, प्रयागराज की उन्नति वर्मा और लखनऊ की निधि अग्रवाल एवं अभिनव दुबे से बात की।